Dhanbad : आईआईटी (आईएसएम) धनबाद, "एक भारत श्रेष्ठ भारत" मिशन के तहत शिक्षा मंत्रालय की पहल "युवा संगम" के तहत उत्तराखंड के विभिन्न हिस्सों से आए 50 युवा प्रतिभागियों के एक प्रतिनिधिमंडल का स्वागत करने के लिए तैयार है। यह पांच दिवसीय सांस्कृतिक आदान-प्रदान कार्यक्रम 16 जनवरी 2025 से शुरू होगा, जिसमें युवाओं को झारखंड की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत, सुंदर परिदृश्यों और औद्योगिक क्षमता को देखने का अवसर मिलेगा।
50 युवा प्रतिभागियों के एक प्रतिनिधिमंडल होंगे शामिल
प्रतिनिधिमंडल में 25 पुरुष और 25 महिला प्रतिभागी शामिल होंगे, जो आईआईटी रुड़की से प्रोफेसर सुनील कृष्ण के नेतृत्व में पांच-सदस्यीय टीम और चार समन्वयकों के साथ आएंगे। यह यात्रा आईआईटी (आईएसएम) धनबाद के गोल्डन जुबली लेक्चर थिएटर में शाम 4 बजे आयोजित स्वागत समारोह के साथ आधिकारिक रूप से शुरू होगी। इस अवसर पर प्रोफेसर सुकुमार मिश्रा, निदेशक, आईआईटी (आईएसएम); प्रोफेसर एमके सिंह, डीन (अकादमिक्स); एसके गुप्ता, डीन (छात्र कल्याण); और प्रोफेसर संजीव आनंद साहू, झारखंड राज्य नोडल अधिकारी, युवा संगम, उपस्थित रहेंगे।
यात्रा की मुख्य विशेषताएं:
17-18 जनवरी: प्रतिनिधिमंडल रांची की दो दिवसीय यात्रा पर जाएगा, जो 17 जनवरी को राजभवन की यात्रा से शुरू होगी। इसके बाद 18 जनवरी को झारक्राफ्ट सेंटर, पहाड़ी मंदिर और राजधानी के अन्य प्रमुख स्थलों का दौरा किया जाएगा।
19 जनवरी: आईआईटी (आईएसएम) धनबाद लौटने के बाद, समूह औद्योगिक और सामाजिक मिशनों की जानकारी प्राप्त करेगा। प्रतिभागी लॉन्गवाल गैलरी का दौरा करेंगे और सेंटर ऑफ सोसाइटी मिशन (सीएसएम) द्वारा आयोजित गतिविधियों में भाग लेंगे, जिसमें सीएसएम द्वारा गोद लिए गए गांवों की यात्राएं भी शामिल हैं।
20 जनवरी : प्रतिभागी धनबाद के प्रसिद्ध कोयला खदानों का दौरा करेंगे, जिसमें बीसीसीएल द्वारा संचालित लोदना और मूनिडीह कोयला खदानें शामिल हैं। यह दौरा उन्हें क्षेत्र की खनन गतिविधियों का प्रत्यक्ष अनुभव प्रदान करेगा।
21 जनवरी : अंतिम दिन, टीम दामोदर वैली कॉरपोरेशन (डीवीसी) के जल विद्युत परियोजना का दौरा करेगी। यह सांस्कृतिक आदान-प्रदान कार्यक्रम आईआईटी (आईएसएम) धनबाद में आयोजित समापन सत्र के साथ समाप्त होगा, जिसके बाद प्रतिनिधिमंडल रुड़की के लिए वापसी यात्रा शुरू करेगा।
संबंधों को मजबूत करना
यह सांस्कृतिक आदान-प्रदान आईआईटी (आईएसएम) धनबाद और आईआईटी रुड़की के संयुक्त प्रयास का हिस्सा है, जिसका उद्देश्य झारखंड और उत्तराखंड के युवाओं के बीच आपसी समझ और एकता को बढ़ावा देना है। इससे पहले, 30 नवंबर से 4 दिसंबर 2024 तक, झारखंड के 43 युवाओं ने उत्तराखंड के विभिन्न हिस्सों का दौरा किया था, जिससे दोनों राज्यों के बीच संबंध मजबूत हुए।
प्रोफेसर संजीव आनंद साहू ने कहा, "युवा संगम पहल राष्ट्रीय एकता को बढ़ावा देने और भारत की सांस्कृतिक एवं औद्योगिक विविधता को अगली पीढ़ी के सामने प्रदर्शित करने की दृष्टि को दर्शाती है।"